शाहरुख खान के लाड़ले को क्लीन चिट मिलने का राकांपा ने किया स्वागत, पूछा- उन्हें हुई परेशानी के लिए कौन जिम्मेदार

punjabkesari.in Friday, May 27, 2022 - 05:39 PM (IST)

नेशनल डेस्क: स्वापक नियंत्रण ब्यूरो (एनसीबी) ने बॉलीवुड अभिनेता शाहरुख खान के पुत्र आर्यन खान को क्रूज जहाज पर मादक पदार्थ मिलने के मामले में शुक्रवार को क्लीन चिट दे दी। महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) ने क्लीन चिट का स्वागत करते हुए सवाल किया कि इस मामले में आर्यन को हुई परेशानियों के लिए किसे जिम्मेदार ठहराया जाएगा। राकांपा ने यह भी कहा कि एनसीबी के तत्कालीन जोनल निदेशक समीर वानखेड़े देश के लोगों के प्रति जवाबदेह हैं। वहीं महाराष्ट्र की गठबंधन सरकार में सहयोगी कांग्रेस ने आरोप लगाया कि यह पूरा मामला राज्य की महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार को गिराने के लिए एक "बड़ी साजिश" का हिस्सा था।

आर्यन को दागी क्यों बनाया गया?
मुंबई की एक अदालत में आरोप पत्र दाखिल करने वाले एनसीबी के अधिकारियों ने कहा कि आर्यन खान और पांच अन्य को ''पर्याप्त सबूतों के अभाव'' के कारण मामले में नामजद नहीं किया गया है। एजेंसी ने एक बयान में कहा कि एसआईटी (विशेष जांच दल) ने ''वस्तुनिष्ठ तरीके'' से जांच की। एनसीबी ने इस मामले में पिछले साल 3 अक्टूबर को आर्यन खान को गिरफ्तार किया था और जमानत मिलने के बाद उन्हें उसी महीने जेल से रिहा कर दिया गया था। राकांपा प्रवक्ता क्लाइड क्रेस्टो ने कहा, "अगर आर्यन खान पाक-साफ ​​थे, तो उन्हें दागी क्यों बनाया गया? इसका क्या मकसद था? इस युवक को हुई परेशानी के लिए कौन जिम्मेदार होगा? इस घटना से कई सवाल उठते हैं।"

अंतत: सच्चाई की जीत हुई- कांग्रेस प्रवक्ता
कांग्रेस प्रवक्ता अतुल लोंढे ने कहा कि अंतत: सच्चाई की जीत हुई। उन्होंने कहा, "हम पहले दिन से ही कहते आ रहे हैं कि यह मामला महा विकास आघाडी सरकार (शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस) को अस्थिर करने की एक बड़ी साजिश का हिस्सा था।" राकांपा के मुख्य प्रवक्ता महेश तापसे ने कहा कि एनसीबी द्वारा आर्यन खान को क्लीन चिट दिया जाना साबित करता है कि राकांपा नेता नवाब मलिक उस समय सही थे जब उन्होंने कहा था कि यह मामला फर्जी है। उन्होंने कहा कि मलिक ने छापे मारने और गवाहों की पहचान करने के तरीकों को लेकर आलोचना की थी। तापसे ने कहा, "मलिक ने जो कुछ भी कहा था, वह सही साबित हुआ। गवाहों ने दावा किया था कि उन्हें सादे कागज पर हस्ताक्षर करने के लिए कहा गया था और इसमें वित्तीय लेनदेन भी जुड़ा था।

राकांपा मंत्री नवाब मलिक की आपत्ति वैध थी 
समीर वानखेड़े इस देश के लोगों के प्रति जवाबदेह हैं।" तापसे ने आरोप लगाया कि स्थिति से साफ हो जाता है कि राकांपा मंत्री नवाब मलिक द्वारा जतायी गयी आपत्ति वैध थी जिसमें उन्होंने छापेमारी के तरीके और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के करीबी लोगों को गवाह बनाए जाने पर सवाल उठाए थे। तापसे ने कहा, "नवाब मलिक ने समीर वानखेड़े के काम और उनके चरित्र पर गंभीर सवाल उठाए। हम हमेशा कहते रहे हैं कि एनसीबी बहुत ही विश्वसनीय संगठन है जिसका अतीत त्रुटिहीन है। लेकिन हाल के दिनों में जिस तरह से चीजें हो रही थीं, उससे संगठन के कामकाज पर सवालिया निशान लग गया।''


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Content Editor

rajesh kumar

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