भारत में कोविड-19 टीका लेने के बाद रक्तस्राव और खून के थक्के जमने की घटनाएं अत्यंत कम: सरकार

punjabkesari.in Monday, May 17, 2021 - 06:50 PM (IST)

नई दिल्लीः कोविड-19 टीकाकरण के बाद प्रतिकूल प्रभावों की जांच करने वाली एक सरकारी समिति ने पाया है कि भारत में कोविशील्ड टीका लगाये जाने के बाद रक्तस्राव और खून के थक्के जमने के 26 संभावित प्रतिकूल प्रभाव के मामले सामने आये हैं।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सोमवार को एक बयान में कहा कि देश में कोविशील्ड और कोवैक्सीन के टीकों के साथ टीकाकरण अभियान के शुरू होने के बाद से 23,000 से अधिक प्रतिकूल प्रभाव के मामलों की सूचना मिली है और इनमें से 700 मामले गंभीर बताए गए हैं।

नेशनल एडवर्स इवेंट फॉलोइंग इम्यूनाइजेशन कमेटी (एईएफआई) ने 498 गंभीर और अति गंभीर मामलों की गहन समीक्षा की है, जिनमें से 26 मामलों में कोविशील्ड टीका लगाये जाने के बाद संभावित थ्रोम्बोएम्बोलिक (रक्त वाहिका में एक थक्का जमना) बताया गया है और ऐसे मामले प्रति 10 लाख खुराक पर 0.61 मामले हैं।

मंत्रालय ने कहा, ‘‘कोवैक्सीन टीका लगाये जाने के बाद कोई संभावित थ्रोम्बोएम्बोलिक मामले की सूचना नहीं है।'' मंत्रालय ने कहा कि चूंकि कुछ देशों में टीकाकरण के बाद विशेष रूप से एस्ट्राजेनेका-ऑक्सफोर्ड टीका (कोविशील्ड) के साथ ‘‘एम्बोलिक और थ्रोम्बोएम्बोलिक मामलों'' को लेकर अलर्ट जारी किए गए थे, इसलिए वैश्विक चिंताओं के आलोक में भारत में प्रतिकूल प्रभाव (एई) के मामलों का तत्काल गहन विश्लेषण करने का 11 मार्च को निर्णय लिया गया था।

राष्ट्रीय एईएफआई समिति ने उल्लेख किया कि 3 अप्रैल तक टीके की 75,435,381 खुराक दी गई (कोविशील्ड -68,650,819 और कोवैक्सीन- 6,784,562)। बयान में कहा गया है, ‘‘इनमें से, 65,944,106 पहली खुराक और 9,491,275 दूसरी खुराक थी। कोविड-19 टीकाकरण अभियान शुरू होने के बाद से देश के 753 जिलों में से 684 से कोविन प्लेटफॉर्म के माध्यम से 23,000 से अधिक प्रतिकूल प्रभाव के मामलों की सूचना मिली। 


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Content Writer

Yaspal

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