भाजपा ने बच्चों के मेंटर कार्यक्रम को साजिश के तहत रोका: सिसोदिया

punjabkesari.in Friday, Jan 14, 2022 - 06:59 PM (IST)

नई दिल्लीः दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने भारतीय जनता  को शिक्षा की दुश्मन करार देते हुए कहा कि भाजपा ने दिल्ली के सरकारी स्कूल के बच्चों का करियर संवारने वाले देश के मेंटर कार्यक्रम को साजिश के तहत रोक रही है। सिसोदिया ने शुक्रवार को कहा कि भाजपा देश के मेंटर कार्यक्रम की सफलता से घबरा गई है और अपने ही कार्यकर्ता से शिकायत करा दिल्ली के सरकारी स्कूल में पढने वाले लाखों बच्चों का करियर संवारने वाले कार्यक्रम को बंद करा रही है। उन्होंने भाजपा के शिक्षा विरोधी चरित्र का पर्दाफाश करते हुए कहा कि इस कार्यक्रम को रोकने के लिए भाजपा ने बेहद हास्यास्पद आधार बनाया है।

भाजपा का कहना है कि पहले स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों का पुलिस वेरिफिकेशन करवाया जाए उसके बाद उन्हें करियर बनाने का टिप्स दें। उन्होंने कहा कि आईआईटी, आईआईएम जैसे प्रतिष्ठित संस्थानों में पढने वाले युवा बच्चों के करियर को संवारने में मदद कर रहे हैं लेकिन भाजपा का मानना है कि इससे साइबर क्राइम और चाइल्ड ट्रैफिकिंग बढ़ेगा। दरअसल भाजपा देश के युवाओं को अशिक्षित रख धर्म और जाति के झगड़ों में उलझाए रखना चाहती है। वह ना तो खुद शिक्षा पर काम करती है और ना ही केजरीवाल सरकार को करने दे रही है।

सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले गरीब परिवार के बच्चे अपने करियर के लिए पढ़े-लिखे युवाओं से गाइडेंस और मेंटरिंग पाकर कुछ बेहतर कर सके ये बात भाजपा के लिए असहनीय हो गई है। भाजपा इस बात से घबरा रही है कि देश में गरीब परिवारों के बच्चे अगर पढ़-लिख जाएंगे तो भाजपा के नफरत का प्रोपोगैंडा कौन चलाएगा, उन्हें धर्म-जाति के मुद्दों में कौन उलझाकर रखेगा। उपमुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली सरकार ने देश के पढ़े-लिखे युवाओं को शिक्षा के साथ जोड़ने के लिए ‘देश के मेंटर' प्रोग्राम की शुरुआत की जिसकी सफलता से घबराकर भाजपा ने साजिश कर इसे रुकवाने का प्रयास किया है।

सिसोदिया ने कहा कि भाजपा देश के मेंटर प्रोग्राम की सफलता से घबरा रही है। भाजपा को लगता है कि अगर देश में बच्चे पढ़-लिख जाएंगे तो भाजपा उन्हें अपने नफरत भरे प्रोपोगैंडा में कैसे उलझाकर रखेगी। उन्होंने कहा कि भाजपा का मानना है कि यदि देश का पढ़ा-लिखा युवा गरीब परिवारों के बच्चों की मेंटरिंग करने लगे और बच्चे पढ़-लिख जाए तो गड़बड़ हो जाएगी और व्हाट्सएप यूनिवर्सिटी पर भाजपा द्वारा भेजे गए वाहियात कुतकरं पर लड़ाई कौन करेगा। उल्टी-सीधी बयानबाजी कौन करेगा। इनके धर्म और जाति के झगड़ों को कौन आगे बढ़ाएगा।

उपमुख्यमंत्री ने बताया कि सरकारी स्कूलों में बहुत से बच्चे ऐसे है जिनके पेरेंट्स ज्यादा पढ़े-लिखे नहीं है और वो पढ़ाई के लिए अपने बच्चों को सही से गाइड नहीं कर पाते। इसलिए दिल्ली सरकार ने देश के पढ़े-लिखे युवाओं से आह्वान किया कि वो आगे आकर आए और सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे जिन्हें मेंटरिंग की जरुरत है उन्हें हफ्ते में केवल 10 मिनट फ़ोन कॉल के माध्यम से देकर उनकी मदद करें। उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार के इस आह्वान पर 44,000 युवा इस कार्यक्रम से जुड़े। इनमें आईआईटी और आईआईएम से 1000 से ज्यादा युवा, ग्रेजुएशन से लेकर पीएचडी कर रहे 15,600 युवा और 7,500 वो युवा शामिल है जो पढ़ाई पूरी कर किसी अच्छी जगह जॉब कर रहे हैं। इन युवाओं ने 1.76 लाख बच्चों की मेंटरिंग करना शुरू किया है और ये आज एक सफल कार्यक्रम है।

 


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Content Writer

Yaspal

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