70 साल पहले अमेरिका ने की थी भारत की मदद, आज भारत ने ऐसे चुकाया पुराना कर्ज

punjabkesari.in Thursday, Apr 09, 2020 - 08:36 PM (IST)

नई दिल्ली। वैश्विक महामारी बन चुकी कोरोना बीमारी के कारण चीन के बाद सबसे ज्यादा अगर किसी देश के हालात खराब हुए हैं तो वो है दुनिया का सबसे ताकतवर देश अमेरिका। अमेरिका में एक दिन में कोरोना के 33 हजार नए मामले सामने आए हैं, जबकि 1,973 लोगों की मौत हो गई है। इसके साथ ही अमेरिका में मौतों का आंकड़ा 14 हजार के पार पहुंच गया है, जबकि 4,35,000 लोग अब तक संक्रमित हो चुके हैं।

कोरोना के बढ़ते संक्रमण के कारण ही अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत से मदद की गुहार लगाई थी। ट्रंप ने भारत से मेलरिया बुखार में इस्तेमाल की जाने वाली दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन (Hydroxychloroquine) की सप्लाई करने की मांग की थी ताकि अमेरिका में कोरोना के कारण बढ़ती मौतों पर अंकुश लगाया जा सके।

भारत ने अमेरिका से मांगी थी मदद
वर्ष 1951 में देश के प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू ने अनाज की कमी से जूझ रहे भारत के लिए अमेरिका से मदद मांगी थी। 12 फरवरी 1951 को तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति हैरी एस ट्रूमैन ने भारत को अनाज की कमी से निपटने के लिए कांफ्रेंस में 20 लाख टन आपात मदद करने की सिफारिश की थी।

हालांकि आज और 1951 में भी दोनों देशों की तरफ से जो मदद की गई वो मानवता के आधार पर ही की गई लेकिन इसके बावजूद इस बात को इतिहास में दर्ज किया जायेगा कि जब भारत को गेंहू की जरुरत थी तब अमेरिका ने मदद की थी और आज जब अमेरिका को लोगों की जान बचाने के लिए दवा की जरूरत है तो भारत ने इसे आगे बढ़कर पूरा किया है।

ऐसे बदल गया वक्त
वर्ष 1951 में पूर्व प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरु के समय से आज 70 सालों के बाद पीएम मोदी तक बहुत कुछ बदल चुका है। भारत आज कई क्षेत्रों में आत्मनिर्भर हो चुका है। भारत के पास आज खाद्यान के भंडार हैं। भारत अब देशों तक खाद्यन का निर्यात करता है। लेकिन कोरोना जैसी महामारी के कारण विश्व के कई देश इस वक़्त मदद मांग रहे हैं। न सिर्फ अमेरिका बल्कि भारत से हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन नामक दवा विश्व के 30 से ज्यादा देशों ने मांगी है।

भारत को ट्रंप का थैंक यू  
अमेरिका को हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन के निर्यात को भारत सरकार ने मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही विश्व के अन्य देशों में भी भारत यह दवा धीरे-धीरे निर्यात करेगा। वहीँ भारत की तत्काल मदद से अमेरिका काफी खुश है। इस बारे में बुधवार को राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक ट्वीट कर भारत के प्रति आभार व्यक्त किया है। उन्होंने अपने ट्वीट में इस बात को खास मेंशन किया कि भारत की मदद को भुलाया नहीं जा सकता।

क्या है हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन
अमेरिका ने जिस दवा के लिए भारत को मदद करने के लिए कहा है वो दवा है हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन। यह दवा वैसे तो मलेरिका और आर्थराइटिस के लिए इस्तेमाल की जाती है लेकिन यह कोरोना के इलाज में भी कामगार सिद्ध हुई है। हालांकि बता दें कि यह दवा कोरोना के मरीज को ठीक नहीं करती है लेकिन इससे शुरुआत मरीजों को काफी राहत मिलती है। दरअसल, इस दवा से मरीज की इम्युनिटी बढ़ जाती है जिसके कारण वो कोरोना से लड़ पाता है।  

 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Chandan

Recommended News

Related News