US ने ईरान के विदेश मंत्री का वीजा रोका, ईरान पर हमले के बयान से पेंटागन ने बनाई दूरी

punjabkesari.in Tuesday, Jan 07, 2020 - 01:34 PM (IST)

वॉशिंगटनः  ईरान की कुद्स फोर्स के प्रमुख जनरल कासिम सुलेमानी की हत्या के  बाद  ईरान के साथ बढ़ते टकराव  के मद्देनजर अमेरिका ने ईरान के विदेश मंत्री मोहम्मद जवाद जरीफ को वीजा देने से मना कर दिया है। उन्हें न्यूयॉर्क में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक में हिस्सा लेने के लिए जाना था । खामनेई के नेतृत्व में हमले का जवाब देने के लिए ईरान के राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की तेहरान में बैठक चल रही है। ईरान के पास दुनिया की 13वीं सबसे बड़ी सेना है। ईरान के साथ मध्य पूर्व में फैले मिलिशिया समूह, लेबनान के हिजबुल्लाह, यमन के हूती विद्रोही और सीरिया के बशर अल-असद जैसे सहयोगी भी शामिल हैं।

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ईरान पर हमले की ट्रंप की धमकी से पेंटागन ने बनाई दूरी
अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के ईरान के सांस्कृतिक स्थलों को निशाना बनाने वाले बयान से सोमवार को पेंटागन ने दूरी बना ली। गौरतलब है कि इस तरह के हमलों पर अंतरराष्ट्रीय प्रतिबंध है। रक्षा मंत्री मार्क एस्पर ने कहा कि अमेरिका ‘‘सैन्य संघर्ष के नियमों का पालन करेगा''। उनसे पूछा गया कि क्या इसका मतलब यह होगा कि सांस्कृतिक स्थलों को निशाना नहीं बनाया जाएगा तो इस पर एस्पर ने कहा, ‘‘सैन्य संघर्ष का यही नियम है।''

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राष्ट्रपति और पेंटागन प्रमुख के बीच यह मतभेद ऐसे वक्त सामने आया है जब ईरान के कुद्स बलों के प्रमुख जनरल कासिम सुलेमानी की अमेरिकी ड्रोन हमले में मौत के बाद अमेरिका और तेहरान के बीच तनाव बेहद बढ़ गया है। एस्पर की सार्वजनिक तौर पर की गई टिप्पणी में अन्य रक्षा एवं सैन्य अधिकारियों की चिंता की झलक मिलती है, जो विशेष परिस्थितियों को छोड़कर धार्मिक एवं सांस्कृतिक स्थलों, असैन्य स्थलों पर हमलों को लेकर कानूनी प्रतिबंधों का हवाला देते हैं। ट्रंप ने शनिवार को एक ट्वीट में सांस्कृतिक स्थलों को निशाना बनाने की ओर संकेत दिया था और इसके अगले ही दिन संवाददाताओं से बातचीत में यही बात दोहराई थी।

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उन्होंने शनिवार को ट्वीट करके चेतावनी दी थी कि यदि ईरान अमेरिकी जवानों या सम्पत्ति पर हमला करता है तो अमेरिका 52 ईरानी स्थलों को निशाना बनाएगा और उन पर ‘‘बहुत तेजी से और जोरदार हमला'' करेगा। उनके इस बयान की चौतरफा आलोचना हुई थी, इसके बावजूद ट्रंप अगले दिन अपने बयान पर कायम रहे।  


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Tanuja

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