UK-EU ने हांगकांग में जिमी लाइ सहित लोकतंत्र समर्थकों को जेल भेजने के फैसले का किया विरोध

punjabkesari.in Monday, Apr 19, 2021 - 01:51 PM (IST)

लंदन:  यूनाइटेड किंगडम (UK) और यूरोपियन यूनियन (EU) ने  हांगकांग में 2019 के बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शनों में अपनी भूमिका के लिए टाइकून जिमी लाइ सहित कई लोकतंत्र  समर्थकों को जेल भेजने के फैसले की निंदा की है। ब्रिटेन के विदेश सचिव डोमिनिक राब ने  इस फैसले के विरोध में शुक्रवार को एक ट्वीट में लिखा कि हांगकांग में लोकतंत्र समर्थक प्रदर्शनकारियों को निशाना बना  रहे चीन को रोकना होगा। रैब ने एक ट्वीट में लिखा है, " हांगकांग को लोकतंत्र समर्थकों को निशाना बनाने के फैसले को रोकना चाहिए। उन्होंने लिखा कि हम स्वतंत्रता की इस लड़ाई में में हांगकांग के लोगों के साथ मिलकर खड़े रहेंगे।"

 

ब्रिटेन के विदेश कार्यालय ने शुक्रवार को एक बयान में कहा कि "शांतिपूर्ण विरोध का अधिकार हांगकांग के  लोगों का मौलिक अधिकार है और इसे बरकरार रखा जाना चाहिए।" उधर, यूरोपीय संघ ने कहा कि हांगकांग के हालिया घटनाक्रमों से चीन की अंतरराष्ट्रीय प्रतिबद्धताओं, विश्वास को कम करने और यूरोपीय संघ-चीन संबंधों को प्रभावित करने की इच्छाशक्ति पर सवाल उठता है। यूरोपीय संघ के प्रवक्ता ने एक बयान में कहा, "अहिंसक कृत्यों के लिए कुछ व्यक्तियों की लम्बी कैद  सुरक्षित नागरिक अधिकारों का हनन, लोकतांत्रिक   ह्रास और मौलिक स्वतंत्रता के क्षरण का एक और संकेत है।" 

 

बता दें कि हांगकांग की एक अदालत ने विरोध प्रदर्शनों में शांतिपूर्ण भागीदारी के लिए दो अलग-अलग मामलों में शुक्रवार को हांगकांग में 10 प्रमुख लोकतंत्र समर्थक लोगों को सजा सुनाई । सजा पाने वालों में  मार्टिन ली, अल्बर्ट हो, मीडिया टॉयकून जिमी लाई, मार्गरेट एन, सीड हो, ली चेउक-यान, लेउंग क्वोक-हंग, औ नोक-हिन, लेउंग यियू-चुंग और येइम सुम के नाम शामिल  हैं। लोकतंत्र समर्थक पांच लोगों को शुक्रवार को जेल भेज दिया जिसमें मीडिया उद्यमी जिमी लाइ भी शामिल हैं।

 

इन लोगों को 2019 में सरकार विरोधी प्रदर्शनों के दौरान एक रैली का आयोजन करने के लिए 18 महीने कैद की सजा दी गई है। इन विरोध-प्रदर्शनों के बाद बीजिंग ने लोकतंत्र समर्थकों पर कड़ी कार्रवाई शुरू की थी। कुल 9 लोकतंत्र समर्थकों को जेल की सजा सुनाई गई लेकिन उनमें से 82 वर्षीय वकील और पूर्व सांसद मार्टिन ली सहित चार लोगों की सजा उनकी उम्र एवं उपलब्धियों को ध्यान में रखते हुए निलंबित रखी गई।

   

 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Tanuja

Recommended News

Related News