श्रीलंका उच्चतम न्यायालय ने राजपक्षे बंधुओं पर विदेश यात्रा प्रतिबंध बढ़ाया

punjabkesari.in Tuesday, Aug 02, 2022 - 12:31 PM (IST)

कोलंबो: श्रीलंका के उच्चतम न्यायालय ने पूर्व प्रधानमंत्री महिंदा राजपक्षे और उनके छोटे भाई एवं पूर्व वित्त मंत्री बासिल राजपक्षे पर विदेश यात्रा प्रतिबंध की अवधि सोमवार को चार अगस्त तक बढ़ा दी। देश में मौजूदा वित्तीय संकट के लिए इन्हीं दोनों नेताओं को सबसे ज्यादा जिम्मेदार ठहराया जा रहा है। प्रधान न्यायाधीश जयंत जयसूर्या की अध्यक्षता वाली उच्चतम न्यायालय की पांच न्यायाधीशों की पीठ ने पूर्व राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के भाइयों के खिलाफ एक समूह द्वारा दायर याचिका पर यह फैसला सुनाया।

 

याचिका दायर करने वालों में सीलोन चैंबर ऑफ कॉमर्स के पूर्व अध्यक्ष चंद्र जयरत्ने, श्रीलंका के पूर्व तैराकी चैंपियन जूलियन बोलिंग, जेहान कनगरत्ना और ट्रांसपेरेंसी इंटरनेशनल श्रीलंका शामिल हैं। यह निर्देश तब जारी किया गया जब सोमवार को मौजूदा आर्थिक संकट के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ जांच का आदेश जारी करने का अनुरोध करने वाली याचिका से संबंधित एक प्रस्ताव आया। याचिका में दावा किया गया है कि तीन व्यक्ति - बासिल, महिंदा और सेंट्रल बैंक के पूर्व गवर्नर अजीत निवार्ड काबराल श्रीलंका के विदेशी ऋण की अस्थिरता, उसके ऋण चूक और मौजूदा आर्थिक संकट के लिए सीधे तौर पर जिम्मेदार हैं, जिसके कारण भोजन, ईंधन और दवाओं समेत बुनियादी वस्तुओं की भारी कमी हो गई।

 

श्रीलंका की शीर्ष अदालत ने 15 जुलाई को तीनों के देश छोड़ने पर 28 जुलाई तक रोक लगा दी थी। बाद में प्रतिबंध को दो अगस्त तक बढ़ा दिया गया था। इस महीने की शुरुआत में, बासिल को यहां भंडारनायके अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर यात्रियों और अधिकारियों के विरोध के बाद श्रीलंका छोड़ने से रोक दिया गया था। महिंदा और बासिल के भाई तथा श्रीलंका के पूर्व राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे 14 जुलाई को मालदीव से ‘‘निजी यात्रा'' पर सिंगापुर पहुंचे, जब वह अपनी सरकार के आर्थिक कुप्रबंधन के खिलाफ भीषण विरोध से बचने के लिए अपने देश से बाहर चले गए थे। राजपक्षे को सिंगापुर द्वारा एक नया वीजा जारी किया गया है, जिससे देश में उनका प्रवास 11 अगस्त तक बढ़ा दिया गया है।  


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Content Writer

Tanuja

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