CPEC परियोजनाः चीन को खुश करने के लिए इमरान ने किया असीम बाजवा को कुर्बान

punjabkesari.in Saturday, Aug 14, 2021 - 12:32 PM (IST)

इस्लामाबादः पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान  अपने दोस्त  चीन को खुश करने के लिए किसी भी हद तक जा जा सकते हैं। यहां तक कि इमरान खान चीन के इशारे पर अपने चहेते अधिकारियों को भी कुर्बान करने से नहीं चूक रहे हैं। इसी ताजा मिसाल है लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) असीम सलीम बाजवा को चीन-पाकिस्तान आर्थिक कॉरिडोर (CPEC) के चेयरमैन पद से हटा कर उनकी जगह खालिद मंसूर को इस पद की जिम्मेदारी सौंपना है।

 

3 अगस्त को असीम सलीम बाजवा को सीपीईसी अथॉरिटी के चेयरमैन के पद से अचानक हटाना पाकिस्तान में CPEC परियोजनाओं में भ्रष्टाचार और पारदर्शिता की कमी की समस्या को सामने लाता है।  उनके जैसे दागी व्यक्ति को सभी महत्वपूर्ण प्राधिकरणों के प्रमुख के रूप में चुनना इस बात का संकेत था कि पाकिस्तान की राज्य मशीनरी CPEC परियोजनाओं से किस तरह के "प्रोत्साहन" प्राप्त करने की कोशिश कर रही थी।

 

दिलचस्प बात यह है कि बाजवा को CPEC प्राधिकरण के प्रमुख के पद से इसलिए नहीं हटाया गया क्योंकि उनपर भ्रष्टाचार के आरोप थे बल्कि पाकिस्तानी नेतृत्व पर चीन का अधिक दबाव था। दरअसल चीन  CPEC परियोजनाओं के निष्पादन की गति  और चीनी कामगारों पर हो रहे हमलों से नाखुश था। यहीं वजह थी कि  पाकिस्तान में काम कर रहे चीनी कर्मियों की सुरक्षा को चीन ने अब सीधे अपने नियंत्रण में लेने का फैसला किया जिससे पाकिस्तान उसके हाथों की कठपुतली बनकर रह गया है।

 

बाजवा ने 2012 से 2016 तक पाकिस्तान सशस्त्र बलों की मीडिया विंग इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस का नेतृत्व किया और नवंबर 2019 में सीपीईसी प्राधिकरण का कार्यभार संभाला। संयोग से उन्हें अप्रैल 2020 में सूचना और प्रसारण पर पीएम के विशेष सलाहकार के रूप में भी चुना गया था। और  एक पद जिसे उन्हें भ्रष्टाचार के कई आरोपों के मद्देनजर छह महीने बाद छोड़ना पड़ा। व्हिसलब्लोअर के रूप में कार्य करते हुए एक पाकिस्तानी पत्रकार अहमद नूरानी ने अगस्त  2020 में 'फैक्ट फोकस' पोर्टल पर इसे प्रकाशित करके बाजवा के व्यवहार में निहित घोटालों की ओर दुनिया का ध्यान आकर्षित किया।

 

तब यह सामने आया कि बाजवा की पत्नी, भाइयों और दो बेटों के पास 4 देशों में $39.9 मिलियन की पिज़्ज़ा फ़्रैंचाइज़ी सहित 99 कंपनियों का स्वामित्व था। । रिपोर्ट में खुलासा हुआ कि बाजवा के छोटे भाइयों ने अपना पहला पापा जॉन का पिज्जा रेस्तरां 2002 में खोला था, जब वह तत्कालीन पाकिस्तानी राष्ट्रपति परवेज मुशर्रफ के साथ मिलकर काम कर रहे थे। बाजवा परिवार की कंपनियों ने अपने व्यवसाय को विकसित करने के लिए अनुमानित $ 52.2 मिलियन और संयुक्त राज्य में संपत्ति खरीदने के लिए $ 14.5 मिलियन खर्च किए।
 


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Content Writer

Tanuja

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