कोरोेना से बचने के लिए कर रहे हैं घर में पूजा-अर्चना तो ये पढ़ना न भूलें
punjabkesari.in Thursday, Sep 10, 2020 - 03:03 PM (IST)
शास्त्रों की बात, जानें धर्म के साथ
देश में कोरोना के आंकड़े दिन भर दिन बढ़ते जा रहे हैं। सरकार की तरफ़ से इसे रोकने के लिए काफी प्रयास किए जा रहे हैं। मगर अब कहीं न कहीं हर किसी ने कोरोना के साथ जीना शुरू कर दिया है। तो वहीं कुछ लोग इससे बचने के लिए जितनी हो सके सावधानियां बरत रहे हैं। इस दौरान जहां कुछ लोग अपनी जान को रिस्क में डालकर अपनी जिंदगी की ज़रूरतों को पूरा करने में जुटे हैं तो वहीं कुछ लोगों ने मंदिर में जाकर पूजा अर्चना शुरू कर दी हैं, हालांकि बता दें मंदिरों आदि में सोश्ल डिस्टेंसिंग का पूरा ख्याल रखा जा रहा है। किंतु कुछ लोग अपने घरों में रहकर ही पूजा करना सेफ मान रहे हैं लेकिन ऐसे में एक बात जो परेशानी का कारण बनी हुई है, वो ये है कि क्या लोग घर में रहकर सही प्रकार से पूजा कर रहे हैं? क्या इसका शुभ प्रभाव प्राप्त हो रहा है?
तो आपको मन में भी अगर ये सारे प्रश्न चल रहे हैं जिस वजह से आप मन ही मन परेशान हो रहे हैं। तो आपको बता दें हम आज आपको इसी से जुडडी जानकारी देने आएं हैं, जिससे आपको अच्छे से पता चल जाएगा कि घर में पूजा करने का सही तरीका क्या है। साथ ही अगर लॉकडाउन के दौरान आप ने घर मेें नया मंदिर बनवाया है या बनवाने की सोच रहे हैं, तो इस जानकारी के माध्यम से आपको इसके बारे में अच्छे से पता चल जाएगा। तो चलिए आपको अधिक इंतज़ार नहीं करवाते हैं और बताते हैं कि वास्तु शास्त्र में बताई गई खास जानकारी।
सबसे पहले प्रत्येक व्यक्ति कोे इस बात का ख्याल रखना चाहिए घर में पूजा स्थल कहां है, क्योंकि ये घर का सबसे महत्वपूर्ण हिस्सा होता है, यही से सारी सकारात्मक उर्जा घर में, वहां रहने वाले लोगों के जीवन में प्रेवश करती है। साथ ही साथ सुख शांति का आगमन होता है। यही कारण है कि इसका ठीक-ठाक होना बेहद ज़रूरी होता है। क्योंकि अगर जाने-अनजाने में बी हम कोई ऐसा गलती कर देते हैं तो वहीं रकी देवी-देवताओं की प्रतिमाओं का अशुभ प्रभाव पड़ता है। जिससे घर केलोगों को अपने जीवन में हर तरप से केवल नाकारात्मक परिणाम मिलने लगते हैं।
ऐसे में वास्तु शास्त्र केअनुसार इसे बनवाना ठीक होता है। सबसे पहले तो हर व्यक्ति को इस बात की ओर ध्यान देना चाहिए कि कभी भी घर के बेडरूम में पूजा स्थल कभी न हो। ऐसा माना जाता है यहां बनाया पूजा घर हमेशा परिवार के लोगों को बीच तनाव पैदा करता है।
आद कल लोग दिखावे बाज़ी में अधिक विश्ववास करते हैं ऐसे में कई लोग अपने घरों में बडे-बड़े मंदिर बनवा लेेते हैं, मगर वास्तु के अनुसार ऐसा करना अच्छा नहीं होता। कहा जाता प्रत्येक व्यक्ति को केवल उतना ही मंदिर बनाना चाहिए जितने की आवश्यकता हो। अधिक खुले स्थानों पर मंदिर बनवाना अच्छा नहीं होता।
तो वहीं कुछ लोग ऐसे भी होते हैं जो अपने घर में भगवान की बड़ी-बड़ी मूर्तियां रख तो लेते हैं, मगर उनकी नियमित रूप से पूजा नहीं कर पाते। वास्तु के अनुसार ऐसा करना बहुत नुकसानदायक साबि त होता है। इसके अलावा इस बात का खास ध्यान रखना चाहिए कि कभी भी घर के पूजा स्थल को ताला नहीं लगाना चाहिए। बल्कि ऐसी व्यवस्था करनी चाहिए जिससे अगर किन्हीं हालातों में घर से बाहर भी रह रहें हों तो पीछे से पूजा घर कभी अकेला न हो।
इसके अतिरिक्त मंदिरों आदि के साथ-साथ कभी घर की पूजा स्खल में कभी भी बासी फूल, माला तथा अगरबत्तियां नहीं रखनी चाहिए। कहा जाता है इससे जीवन में नकारात्मक उर्जा का संचार होता है जो घर के सदस्यों की खुशियाोक के साथ उनकी आय व आयु को भी कम करती है।
वास्तु विशेषज्ञ बताते हैं कि कभी भी पूजा घर सीढ़ियों, शौचालय तथा स्नान घर के पास नहीं होना चाहिए न ही रसोई घर के साथ होना चाहिए। वास्तु शास्त्री कहते हैं कि इसकी वजह यह है कि रसोई घर में जूठन और डस्टबीन जैसीअन्य कई चीजें मंदिर की पवित्रता को नष्ट करती हैं।