‘सिटको के सैक्टर-10 आऊटलेट की हालत खस्ता’

punjabkesari.in Saturday, Sep 11, 2021 - 01:26 AM (IST)

चंडीगढ़,(राजिंद्र शर्मा) : चंडीगढ़ इंडस्ट्रीयल एंड टूरिज्म डिवैल्पमैंट कारपोरेशन (सिटको) का सैक्टर-10 स्थित आऊटलेट पिछले माह से बंद पड़ा है, जिसके चलते इसकी खस्ताहालत हो गई है। मगर विभाग इस तरफ ध्यान नहीं दे रहा। आऊटलेट के बाहर ही काफी सामान रखा हुआ है, जो खुले में ऐसे ही पड़ा है। इसके अलावा आसपास के एरिया में जंगली घास उग गई है, जिसे काटने के लिए भी कोई प्रयास नहीं हो रहा है। बता दें कि पिछले महीने की शुरूआत में ही कंपनी ने इस आऊटलेट को सरैंडर कर दिया था, जिसके बाद ही नई कंपनी की तलाश के लिए सिटको प्रयास कर रहा है। इसके लिए एक्सप्रैशन ऑफ इंटरैस्ट भी जारी किया गया था। 

 


सिटको के एक अधिकारी ने बताया कि एक्सप्रैशन ऑफ इंटरैस्ट में 6 कंपनियों ने अप्लाई किया है, जिसके बाद ही अब आगे वह इसके लिए टैंडर जारी करेंगे। उन्होंने कहा कि आऊटलेट का काम जल्द अलॉट करने के लिए प्रयास किया जा रहा है। इसके अलावा यहां सफाई व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए भी कर्मचारियों की जिम्मेदारी तय की गई है। 


कर्मियों ने निजीकरण का किया था विरोध
पहले असमी इंडस्ट्रीज इस आऊटलेट को चला रही थी, जिसने समय से पहले ही आऊटलेट को सरैंडर करने की पेशकश कर दी थी। इसके अलावा कंपनी ने विभाग के प्रमुख रैस्टोरैंट सैक्टर-34 ड्रॉप इन को भी सरैंडर करने का फैसला लिया था। सिटको ने वर्ष 2018 में सैक्टर-10 के इस आऊटलेट को निजी हाथों में देने की तैयारी शुरू की थी। पहले सिटको खुद ही ये आऊटलेट चला रहा था। सिटको का आऊटलेट प्राइम लोकेशन पर है, जहां पर युवाओं का जमावड़ा लगा रहता है। 


लाइट स्नैक्स, सॉफ्ट ड्रिंक, कॉफी, चाय, स्टफ्ड परांठा व राजमाह चावल और चन्ना कुल्चा के लिए पहले ये आऊटलेट प्रसिद्ध रहा है। तब कर्मचारियों ने आऊटलेट को निजी हाथों में देने का विरोध किया था। कर्मचारियों का कहना था कि आऊटलेट से न तो कोई प्रॉफिट आ रहा है और न ही ये घाटे में जा रहा है। इसमें कर्मचारियों का वेतन और अन्य खर्च निकल रहे हैं, इसलिए इसका निजीकरण नहीं करना चाहिए। लेकिन बावजूद इसके विभाग ने इसका काम निजी कंपनी को अलॉट कर दिया था। पिछले माह से ही बंद पड़े होने के चलते आऊटलेट की हालत खस्ता हो रही है।


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News Editor

ashwani

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