सैक्टर-17 ओवरब्रिज ऑफिस स्पेस : निगम बैंक, सरकारी ऑफिस और मल्टीनैशनल कंपनियों को करेगा अलॉट

punjabkesari.in Monday, Feb 10, 2020 - 09:33 AM (IST)

चंडीगढ़(राजिंद्र) : चंडीगढ़ नगर निगम सैक्टर-17 स्थित न्यू ओवर ब्रिज के सैकेंड व थर्ड फ्लोर के ऑफिस स्पेस को बैंक, सरकारी ऑफिस, नैशनल व मल्टीनैशनल कंपनियों को अलॉट करेगा। निगम द्वारा पांच वर्ष के लिए मासिक लाइसैंस फीस पर इनकी अलॉटमैंट की जाएगी। इस संबंध में कंपनियों से आवेदन मांगे गए हैं, जिसके लिए वह 28 फरवरी तक आवेदन कर सकते हैं। 

निगम ने ओवर ब्रिज के साथ ही यहां 40 बूथों व ऑफिस स्पेस का निर्माण करवाया था, लेकिन कुछ बूथों पर स्मार्ट सिटी ऑफिस बना दिया गया था। निगम के एक अधिकारी ने बताया कि वह 75 रुपए प्रति स्क्वेयर फीट मासिक रैंट पर इन ऑफिस स्पेस की अलॉटमैंट करेंगे। निगम ने सैकेंड व थर्ड फ्लोर के एरिया के लिए ये आवेदन मांगे हैं। निगम ने 7 फरवरी से आवेदन स्वीकार करने शुरू कर दिए हैं, जिसके लिए लास्ट डेट 28 फरवरी तय की गई है। 

निगम ने इससे पहले कई बार यहां बूथों व आफिस स्पेस की ऑक्शन करने का प्रयास किया, लेकिन लीज होल्ड व रिजर्व प्राइज काफी अधिक होने के चलते लोग इन्हें लेने में रुचि नहीं दिखा रहे हैं। यही कारण है कि निगम ने अब मासिक लाइसैंस फीस पर इन्हें सरकारी ऑफिसों, बैंक व कंपनियों को अलॉट करने का फैसला लिया है।

करोड़ों रुपए का हो चुका है नुक्सान :
नगर निगम ने वर्ष 2013 में ओवर ब्रिज का शुभारंभ किया था। इस ब्रिज के नीचे 40 बूथ व ऊपर ऑफिस स्पेस बनाए गए थे। इस प्रोजैक्ट को 20 करोड़ रुपए की लागत से दो साल में पूरा किया गया था। उस वक्त निगम ने बूथों व ऑफिस स्पेस के निर्माण का फैसला तो ले लिया, लेकिन इस संबंध में कोई पॉलिसी नहीं बनाई गई कि वह इनका क्या करेगा। 

यही कारण है कि इनकी सफल नीलामी न होने से निगम को करोड़ों रुपए का नुक्सान हो चुका है। यहां पर कई रेहड़ी, रिक्शा चालकों ने भी कब्जा कर रखा है। यहां पर काम करने वाले कई लोग बूथों में ही अपना सामान रखते हैं। कई बार स्थानीय व्यापारी निगम को इस संबंध में शिकायत दे चुके हैं, लेकिन निगम कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है। इससे पहले भी निगम इनकी कई बार नीलामी करने का प्रयास कर चुका है, लेकिन हर बार वह इसमें असफल रहता है। 

बूथों की हालत हुई खस्ता :
यहां बूथों की हालत खस्ता होती जा रही है, क्योंकि ओवरब्रिज के साथ ही  बूथ बने थे व तभी से यह बिना अलॉटमैंट बंद पड़े हैं। यहां पर लोगों ने कचरा फैंकना शुरू कर दिया है और लोग शौच के लिए भी बूथों का इस्तेमाल कर रहे हैं, लेकिन निगम ने इनकी संभाल के लिए कोई प्रयास नहीं कर रहा है। 


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Priyanka rana

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