भारतीय बैंकों में जमा राशि दुनिया में सबसे कम सुरक्षित

punjabkesari.in Tuesday, Oct 22, 2019 - 11:52 AM (IST)

नई दिल्लीः पंजाब एंड महाराष्ट्र को-ऑप्रेटिव (पी.एम.सी.) बैंक के संकट में पडऩे के बाद बैंक में जमा रकम के बीमा का मुद्दा चर्चा में आ गया है। बैंक में जमा राशि के फंस जाने से लोगों को भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है। पिछले दिनों पैसे की किल्लत से जूझ रहे पी.एम.सी. बैंक के कुछ ग्राहकों की मौत भी हो गई।

भारतीय बैंकों में जमा रकम पर ग्राहकों को अधिकतम एक लाख रुपए का बीमा मिलता है। बीमे का यह स्तर दुनिया के अधिकतर देशों में मिलने वाले बीमा के मुकाबले कम है। यही नहीं एशियाई देशों और ब्रिक्स समूह के देशों से भी तुलना की जाए तो भारतीय बैंकों का डिपॉजिट बीमा काफी कम है यानी भारतीय बैंकों में जमा राशि दुनिया में सबसे कम सुरक्षित है।
एक रिपोर्ट मुताबिक रूस में बैंकों की जमा पर 13.6 लाख रुपए का बीमा कवर मिलता है। यह बीमा कवर ब्राजील में 45.36 लाख रुपए, कनाडा में 51.2 लाख, जापान में 62.9 लाख, फ्रांस में 77.1 लाख रुपए, जर्मनी और इटली में भी इतना ही है। ब्रिटेन में यह 78.7 लाख, ऑस्ट्रेलिया में 1.3 करोड़ और अमरीका में यह डिपॉजिट कवर 1.77 करोड़ रुपए है।

प्रति व्यक्ति आय के लिहाज से भी भारत में कम है बीमा कवर
भारत में बैंक डिपॉजिट पर जो बीमा कवर है वह देश की प्रति व्यक्ति आय के मुकाबले 70 प्रतिशत है। रूस में यह प्रति व्यक्ति आय के मुकाबले 2.2 गुना है। ब्राजील में यह 7.4 गुना, कनाडा में 1.7 गुना, जापान में 2.3 गुना, फ्रांस में 3 गुना, जर्मनी में 2.6 गुना, इटली में 3.6 गुना, ब्रिटेन में 2.8 गुना और अमरीका में 4.4 गुना है।

ब्रिक्स समूह के भी कई देश भारत से बेहतर हालत में
ब्रिक्स समूह में ब्राजील में 45.36 लाख रुपए और रूस में 13.6 लाख रुपए का डिपॉजिट कवर मिलता है। वहीं ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के मुताबिक चीन में 57.3 लाख रुपए तक का बीमा कवर मिलता है। एक रिपोर्ट के मुताबिक फिलीपींस में बैंक डिपॉजिट पर 67.3 लाख रुपए का बीमा कवर है। थाईलैंड में यह कवर 1.13 करोड़ रुपए है।

बैंकों की हड़ताल आज
सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के विलय और जमा राशि पर ब्याज दर घटने के विरोध में कुछ कर्मचारी यूनियनों ने 22 अक्तूबर को देश व्यापी हड़ताल का आह्वान किया है। इससे बैंकों में कामकाज प्रभावित हो सकता है। भारतीय स्टेट बैंक सहित ज्यादातर बैंकों ने अपने ग्राहकों को इस संबंधी पहले ही सूचित कर दिया है। हालांकि अधिकारी और निजी क्षेत्र के बैंक हड़ताल में शामिल नहीं होंगे। 
 


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jyoti choudhary

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