भारतीय बाजार में चीनी कंपनियों का दबदबा, जानें किस सेक्टर में है कितनी फीसदी हिस्सेदारी

punjabkesari.in Thursday, Jun 18, 2020 - 02:55 PM (IST)

बिजनेस डेस्कः भारत और चीन के बीच गलवान घाटी में हुईं हिंसक टकराव ने एक बार फिर भारत में चीनी कंपनियों के बिजनेस और दबदबे को लेकर चर्चा तेज कर दी है। चीन के लिए भारत एक बहुत बड़े बाजार के रूप में उभरा है। चीन की कंपनियों ने हर सेक्टर में भारी भरकम निवेश किया है। चीन की कंपनियों के सस्ते उत्पाद भारत में अपनी जडे़ं इस कदर जमा चुके हैं कि उनको उखाड़ना बहुत मुश्किल है। 

चीनी कंपनियों को भारत सरकार से या प्राइवेट सेक्टर से फिलहाल कोई कॉन्ट्रैक्ट जल्द ही मिलने की संभावना नहीं है। पर सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि हुआवेई कंपनी, जिसका भारत के 5जी मार्केट में उतरने की पहले से ही कम अवसर थे, अब और भी कम हो गया है। हम आपको बताते हैं कि चीन की किन कंपनियों की भारत में किस सेक्टर में कितनी हिस्सेदारी है।

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स्मार्टफोन: स्मार्टफोन मार्केट साइज भारत में 2 लाख करोड़ रुपए का है। इसमें 72 प्रतिशत हिस्सा चीन की कंपनियों के प्रोडक्ट का है। 

टेलीकॉम इक्विपमेंट: भारत में टेलीकॉम इक्विपमेंट का बाजार 12,000 करोड़ रुपए का है। इसमें चीन की कंपनियों की हिस्सेदारी 25 प्रतिशत है।

टेलीविजन: भारत में टेलीविजन का मार्केट 25,000 करोड़ रुपए का है। इसमें चीन की कंपनियों की स्मार्ट टीवी की हिस्सेदारी 42 से 45 प्रतिशत है। नॉन स्मार्ट टीवी की हिस्सेदारी 7-9 प्रतिशत है।

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होम अप्लायंसेस: भारत में इस सेगमेंट का मार्केट साइज 50 हजार करोड़ रुपए है। इसमें चीन की कंपनियों की हिस्सेदारी 10-12 प्रतिशत है।

ऑटो कंपोनेंट: भारत में इस सेगमेंट का मार्केट साइज 57 अरब डॉलर का है। इसमें चीन की कंपनियों की हिस्सेदारी 26 प्रतिशत है।

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सोलर पावर: भारत में इसका मार्केट साइज 37,916 मेगावाट का है। इसमें चीन की कंपनियों का हिस्सा 90 प्रतिशत है।

इंटरनेट ऐप: भारत में इंटरनेट एप का मार्केट साइज 45 करोड़ स्मार्ट फोन यूजर के रूप में है। 66 प्रतिशत लोग कम से कम एक चीनी ऐप का इस्तेमाल करते हैं।

स्टील: भारत में स्टील का मार्केट साइज 108.5 एमटी का है। इसमें चीन की कंपनियों की हिस्सेदारी 18-20 प्रतिशत है।

फार्मा: एपीआई- भारत में फार्मा एपीआई का मार्केट साइज 2 अरब डॉलर का है। इसमें चीन की कंपनियों की हिस्सेदारी 60 प्रतिशत है।
 


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jyoti choudhary

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