तीन तलाक पर रोक को लागू करना चुनौतीपूर्ण : असदुद्दीन ओवैसी
punjabkesari.in Tuesday, Aug 22, 2017 - 06:16 PM (IST)
नई दिल्लीः तीन तलाक पर सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक फैसला सुनाते हुए छह महीने की रोक लगा दी है। इसके बाद से राजनेताओं ने अपने-अपने तरीके से प्रतिक्रियाएं देना शुरू कर दिया है। इन सबसे इतर AIMIM के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने बड़ा बयान जारी किया है। उनका कहना था कि कोर्ट के फैसले को लागू करना चुनौतीपूर्ण होगा।
पीएम मोदी ने ट्वीट में लिखा कि तीन तलाक़ पर माननीय सुप्रीम कोर्ट का फैसला ऐतिहासिक है। इससे मुस्लिम महिलाओं को बराबरी का दर्जा मिलेगा और महिला सशक्तिकरण की दिशा में यह शक्तिशाली पहल है। वहीं भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने देश की मुस्लिम महिलाओं को बधाई दी है। उन्होंने ट्वीट में कहा कि ये ऐतिहासिक फैसला नये युग की शुरुआत है।
We have to respect the judgement. It is going to be a great Herculean task to implement this on ground: Asaduddin Owaisi, AIMIM #TripleTalaq pic.twitter.com/FbWPKmgPwG
— ANI (@ANI) August 22, 2017
जबकि AIMIM के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने तीन तलाक के फैसले पर अलग ही विचार रखते हैं। उनका कहना था कि वो कोर्ट के फैसले का सम्मान करते हैं लेकिन उनका मानना है कि इस फैसले को लागू करना बहुत चुनौतीपूर्ण है।
गौरतलब है कि मंगलवार को तीन जजों जस्टिस यूयू ललित, जस्टिस रोहिंगटन नरीमन और जस्टिस कुरियन जोसेफ ने ट्रिपल तलाक को असंवैधानिक करार देते हुए 3-2 के बहुमत से अपना फैसला सुनाया है। चीफ जस्टिस जेएस खेहर और जस्टिस अब्दुल नज़ीर ने इससे अलग रुख जाहिर किया था। सुप्रीम कोर्ट के दो जजों ने केंद्र सरकार से तीन तलाक़ पर संसद से कानून बनाने को कहा है।
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि सभी राजनीतिक दलों को कानून बनाने के लिए अपने मतभेदों को किनारे रखते हुए केंद्र सरकार की मदद करनी चाहिए. मुख्य न्यायधीश जेएस खेहर और जस्टिस नजीर ने अपने फैसले में विचार व्यक्त किया कि केंद्र जो भी कानून बनाए उसमें मुस्लिम लॉ और शरियत की चिंताओं को भी शामिल किया जाए। इसी साल मई के महीने में 5 जजों की संवैधानिक बेंच ने 6 दिनों तक इस मुद्दे पर ऐतिहासिक सुनवाई की थी। सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई पूरी करने के बाद 18 मई को इस पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था।