इंद्रियों को बनाना चाहते हैं तेजधार, तो इन टिप्स को करें Follow

punjabkesari.in Monday, Mar 12, 2018 - 10:07 AM (IST)

प्रकृति ने हमें कुछ इंद्रियां दी हैं परंतु हममें से अधिकतर लोग उनका पूर्ण लाभ शायद ही कभी लेते हैं।  यदि आप भी अपनी 5 इंद्रियों को तेज करना चाहते हैं तो यहां दिए जा रहे टिप्स को अपना सकते हैं। 


श्रवण  
‘द फाइव सैंसेज : हाऊ टू इम्प्रूव टेस्ट, स्मैल, टच, साइट एंड हीयरिंग’ के लेखक जान दे व्रीस कहते हैं कि बेशक आप श्रवण यानी अपनी सुनने की शक्ति को सुधार नहीं सकते परंतु अपने सुनने के ढंग को जरूर निखारा जा सकता है। 


आंखें बंद करके अन्य सभी इंद्रियों से ध्यान हटा कर सारा ध्यान अपने पसंदीदा गीत में बज रहे किसी एक वाद्य की धुन पर केंद्रित करने का प्रयास करें। देखना बंद करने पर ज्यादा से ज्यादा जानकारी लेने के लिए आप अपने कानों तथा उसे समझने के लिए दिमाग को प्रक्षिशित कर सकते हैं।


जब कार अलार्म जैसी किसी तेज आवाज से परेशानी हो तो बस मुस्कुरा दें। इससे कान की भीतरी मांसपेशियां ङ्क्षखचती हैं जिससे नुक्सान कर सकने वाली आवाजें 20 डैसिबल तक कम तीव्रता से सुनाई देती हैं।


स्पर्श
कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के शोधकर्त्ता सलाह देते हैं कि त्वचा की संवेदनशील परत ‘अपर डर्मिस’ की तंत्रिकाओं में ऑक्सीजन स्तर बढ़ाने के लिए विटामिन बी 12 तथा नियासिन से भरपूर आहार का सेवन करें। 


स्वाद
वाइन चखने से पहले खाने के लिए पनीर देने की वजह है कि यह मुंह को फैट की हल्की-सी परत से ढंक कर इंद्रियों को कमजोर कर देता है जिसके बाद स्वाद बढ़ जाता है। 

जान दे व्रीस कहते हैं, ‘‘अपने भोजन के सभी फ्लेवर्स का अच्छे से स्वाद लेने के लिए किसी भी व्यंजन को खाने से पहले मुंह में पानी फेर कर अपने ‘टेस्ट बड्स’ को अच्छे से साफ करना जरूरी है।’’

साथ ही हर निवाले को 3 सैकेंड तक चबाएं ताकि उसके नमकीन, खट्टे-मीठे आदि सभी प्रकार के तत्व आपकी जीभ तक पहुंच सकें।

अंत में मुंह के 10 हजार ‘टेस्ट बड्स’ को सप्ताह में एक बार अच्छे से साफ करना भी आवश्यक है। इसके लिए ब्रश करने के बाद जीभ को 1 मिनट तक स्क्रब करें। जीभ पर अन्य अवशेषों के अलावा प्लाक की परत भी जम सकती है जो सफाई से हट जाती है।


गंध
अपनी सूंघने की शक्ति का इस्तेमाल करके कुछ खास तरह के परफ्यूम बना चुके मशहूर परफ्यूमर हैरी फर्मोंट के अनुसार, सूंघने की ताकत को तेज करने के लिए सूंघने के तरीके को सुधारना जरूरी है। 


वह कहते हैं, ‘‘बहुत जोर लगा कर सूंघने से काफी सारी हवा एक साथ नाक में चली जाती है। इसके बजाय कई बार हल्का-सा सूंघें जिससे आप किसी भी गंध के हल्के तत्वों को भी महसूस कर सकेंगे।’’


यूनिवर्सिटी ऑफ कैम्ब्रिज में स्मैल एंड बिहेवियर के विशेषज्ञ डा. पीटर ब्रेनान जो भी सूंघें उसे शब्द देने की सलाह देते हुए कहते हैं, ‘‘कॉफी या सफेदे जैसी तीव्र गंध को सूंघते हुए उनकी खूबियों को तीन नाम दें। इससे दिमाग तथा ‘ओलफैक्टरी’ (सूंघने वाले तंत्र) के बीच संबंध मजबूत होते हैं।’’


दृष्टि 
आमतौर पर माना जाता है कि अधिक इस्तेमाल से इंद्रियां तेज होती हैं परंतु आंखों पर यह नियम लागू नहीं होता है। वास्तव में ज्यादा इस्तेमाल करने से समस्या पैदा हो सकती है। 


साउथेम्प्टन यूनिवर्सिटी में ऑप्थैलमोलॉजी के प्रोफैसर एंड्रयू लोटेरी बताते हैं, ‘‘आराम दिए बिना आंखों की कुछ मांसपेशियों के ज्यादा प्रयोग से वे कमजोर पड़ सकती हैं और पहले की तरह तेजी से फोकस नहीं किया जा सकता।’’


अगर रोज आपके कुछ घंटे कम्प्यूटर स्क्रीन को देखते हुए ही गुजरते हैं तो अखबार से किसी खबर को काट कर 8 से 10 फुट दूर चिपका लें। हर आधे घंटे पर काम छोड़ कर  खबर की सुर्खी पर फोकस करें और फिर कम्प्यूटर स्क्रीन को देखें। ऐसा पांच बार करें।  ‘कृत्रिम आंसुओं’ (आॢटफिशियल टियर्स) द्वारा आंखों को प्रदूषण तथा पराबैंगनी किरणों से बचाने की सलाह भी एंड्रयू देते हैं। रोज इस्तेमाल करने से ये आंखों की रक्षा करते हैं और मोतियाबिंद के खतरे को 60 प्रतिशत तक कम कर देते हैं।
 


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