''महाराजा'' के आएंगे अच्छे दिन, विदेशी निवेशकों के लिए खुला रास्ता

punjabkesari.in Wednesday, Jan 10, 2018 - 03:53 PM (IST)

नई दिल्लीः सरकार ने राष्ट्रीय एयरलाइन कंपनी एयर इंडिया की माली हालत सुधारने के लिए अहम फैसला किया है। कैबिनेट ने आज एयर इंडिया समेत भारतीय एयरलाइंस कंपनियों में 49 फीसदी विदेशी निवेश का रास्ता साफ कर दिया है। इसके साथ ही कैबिनेट ने सिंगल ब्रांड रिटेल में 100 फीसदी विदेश निवेश को मंज़ूरी दी है। सरकार के फैसले के साथ ही निजीकरण के दरवाजे खुल गए हैं।

एयर इंडिया में 49 फीसदी विदेशी निवेश को मंजूरी
विदेशी निवेश के मौजूदा नियमों के तहत शेडयूल एयरलाइंस (वो विमानन कंपनियां जो सरकारी एजेंसियो की ओर से मंजूर टाइम टेबल के हिसाब से उड़ाने मुहैया कराती हैं) में विदेशी एयरलाइंस को 49 फीसदी तक विदेशी निवेश की इजाजत है, लेकिन सरकारी एयरलाइन एयर इंडिया को इससे बाहर रखा गया था। मंत्रिमंडल के ताजा फैसले के अनुसार एयर इंडिया में भी विदेशी एयरलाइंस 49 फीसदी तक हिस्सेदारी ले सकेंगी। लेकिन किसी भी सूरत में प्रभावी नियंत्रण और अहम हिस्सेदारी भारतीयों के हाथ ही में रहेगा। साथ ही विदेशी एयरलाइंस यह निवेश सरकार की अनुमति के बाद ही कर सकेंगी।

सरकार को मिलेगी मदद
सरकार का यह फैसला एयर इंडिया के विनिवेश में मदद कर सकता है। घाटे से जुझ रही इस कंपनी से सरकार बाहर निकलना चाहती है। इसे चलाने के लिए सरकार को अपने खजाने से पैसे देने पड़ते हैं। इसके लिए कुछ घरेलू एयरलाइंस जैसे इंडिगो, स्पाइसजेट और विस्तारा ने दिलचस्पी भी दिखाई है। उम्मीद है कि दावेदारों की सूची में विदेशी एयरलाइंस के शामिल होने से काफी बेहतर कीमत सरकार को मिल सकेगी। जानकारी के मुताबिक, फरवरी में सरकार एयर इंडिया में अपनी हिस्सेदारी बेचे जाने की प्रक्रिया को रफ्तार देगी।


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